बिहार में अब बंद हो जाएंगे सभी कोचिंग संस्थान:- अब सरकारी स्कूलों के समय में कोचिंग संस्थान नहीं चलेंगे। कोचिंग संस्थान इस बात को सुनिश्चित करेंगे कि वे इस दौरान बच्चों को नहीं पढ़ाएंगे। कोचिंग संस्थान में किसी भी कक्ष का न्यूनतम कारपेट एरिया 300 वर्गफुट से कम नहीं होगा। ये शर्तें बिहार कोचिंग संस्थान (नियंत्रण और विनियमन) नियमावली 2023 में शामिल हैं।
- कोचिंग संस्थान पर नया नियम लागू
- कोचिंग का रजिस्ट्रेशन कराना अनिवार्य
- नया नियम क्या है
- अब आमलोग भी शिकायत कर सकेंगे
- कुछ महत्वपूर्ण लिंक
कोचिंग संस्थान पर नया नियम लागू
नियमावली का प्रारूप बुधवार को जारी किया गया है। इसके तहत हर कोचिंग संस्थान को संबंधित जिले में पंजीकरण कराना होगा। नियमावली को विभाग की वेबसाइट पर अपलोड कर दिया गया है। एक सप्ताह के अंदर इस पर सुझाव मांगे गए हैं। सुझाव माध्यमिक शिक्षा निदेशक के ई-मेल पर देने होंगे। राज्य में बिहार कोचिंग संस्थान (नियंत्रण और विनियमन) अधिनियम 2010 गठित है। पहली बार इसकी नियमावली आई है।
कोचिंग का रजिस्ट्रेशन कराना अनिवार्य
रजिस्ट्रेशन शुल्क 5000 रुपए है। रजिस्ट्रेशन तीन साल तक मान्य होगा। नवीनीकरण के लिए 3000 रुपए देने होंगे। रजिस्ट्रेशन प्रमाणपत्र देने के लिए जिला पदाधिकारी समिति गठित करेंगे। इसके अध्यक्ष जिलाधिकारी व सदस्य सचिव जिला शिक्षा पदाधिकारी होंगे। एसपी और अंगीभूत कॉलेज के प्राचार्य सदस्य रहेंगे। आवेदन के 30 दिनों के अंदर कमेटी रजिस्ट्रेशन प्रमाणपत्र देगी।
नया नियम क्या है
- कोचिंग की कक्षा में हर छात्र को कम-से-कम एक वर्गमीटर स्थान मिले।
- लड़के और लड़कियों के लिए अलग-अलग शौचालय जरूरी।
- पेयजल, प्राथमिक चिकित्सा व अग्निशामक यंत्र की व्यवस्था हो ।
- सरकारी या सरकारी सहायता प्राप्त स्कूलों के शिक्षकों की सेवा नहीं लेंगे।
- सरकारी स्कूल-कॉलेजों के समय को देखते हुए डीएम कोचिंग संस्थानों का समय निर्धारण करेंगे।
- छात्र-छात्राओं के शुल्क में भी जिलाधिकारी कटौती कर सकेंगे।
- डीएम के निर्देश पर अफसर कोचिंग संस्थानों का निरीक्षण करेंगे।
- अनुमंडल स्तर पर भी जांच कमेटी बनेगी।
अब आमलोग भी शिकायत कर सकेंगे
नियमावली में बताया गया है कि सभी जिलों में जिला पदाधिकारी अनुमंडल स्तर पर जांच समिति का गठन करेंगे। इस समिति के अध्यक्ष अनुमंडल पदाधिकारी (एसडीओ) होंगे। कोई भी शिकायतकर्ता कोचिंग संस्थानों के खिलाफ शिकायत दर्ज करा सकता है। समिति शिकायत आने के 30 दिनों के अंदर जांच कर जिलाधिकारी को अपनी अनुशंसा करेगी। किसी संस्थान को दो बार दंडित किए जाने के बाद प्राधिकार उसका रजिस्ट्रेशन रद्द कर सकता है। रजिस्ट्रेशन रद्द होने पर संस्थान अगले दो वर्षों तक नए रजिस्ट्रेशन के लिए आवेदन नहीं कर पाएगा। रजिस्ट्रेशन रद्द होने के बाद भी अगर कोचिंग संस्थान ने पढ़ाना जारी रखा तो जिलाधिकारी उसकी सभी चल- अचल संपत्तियों को जब्त करने के साथ ही संस्थान के परिसर को सील कर सकते हैं।
कुछ महत्वपूर्ण लिंक-बिहार में अब बंद हो जाएंगे सभी कोचिंग संस्थान
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